एमपी की 'लाडली बहनों' के चेहरे पर आएगी मुस्कान, खाते में आने वाली है किस्त जानें कब निकाल सकती हैं?
भोपाल. मध्यप्रदेश में एक लाख पदों पर युवाओं को सरकारी नौकरी मिलेगी। इसकी प्रक्रिया दिसंबर 2024 तक शुरू कर दी जाएगी। यह निर्णय मंगलवार को सीएम डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में लिया गया। बैठक में सरकारी कर्मचारियों को इस माह 28 तारीख को वेतन दिए जाने पर भी मुहर लगी। उधर, नाबालिग रेप पीड़िताओं के गर्भवती होने की स्थिति में उसके और उनके बच्चे को सहायता देने के लिए हर जिले के कलेक्टर काे 10 लाख रुपए का फंड दिया जाएगा।
स्वास्थ्य विभाग के 7900 पद भरे जाएंगे
कैबिनेट के फैसलों की जानकारी देते हुए उप मुख्यमंत्री और लोक स्वास्थ्य व चिकित्सा शिक्षा मंत्री राजेंद्र शुक्ल ने कहा, एक लाख पदों को भरने के फैसले में स्वास्थ्य विभाग के 7900 पद शामिल हैं। भर्तियां पीएससी और कर्मचारी चयन मंडल के माध्यम से की जाएंगी। शुक्ला ने बताया कि कैबिनेट में मुख्यमंत्री यादव के उज्जैन सिंहस्थ 2028 को लेकर किए गए फैसले का समर्थन किया गया है।
12670 आंगनवाड़ी को मंजूरी, नए पद
शुक्ल ने बताया कि प्रदेश की 12670 मिनी आंगनवाड़ी को पूर्ण आंगनवाड़ी बनाया जाएगा। इन केंद्रों के लिए 12670 सहायक और 476 सुपरवाइजर के पद स्वीकृत किए गए हैं। इस पर 213 करोड़ का वार्षिक खर्च आएगा। इसमें 179 करोड़ राज्य सरकार देगी और 34 करोड़ केंद्र सरकार देगी।
रिलायंस, हिंडाल्को, पतंजलि करेंगे निवेश
शुक्ल ने कहा कि रीवा में 23 अक्टूबर को रीजनल इंडस्ट्री कॉन्क्लेव होने जा रहा है। रीवा में सीमेंट, पावर, सोलर एनर्जी और पर्यटन क्षेत्र में वृहद संभावनाएं हैं। रीवा एयरपोर्ट के परिचालन को लेकर भी कैबिनेट में चर्चा हुई। यहां से चलने वाले विमान का प्रति यात्री किराया रेलवे के एसी थ्री-टीयर के किराए से कम है। कॉन्क्लेव के लिए 4 हजार रजिस्ट्रेशन हो चुके हैं। रिलायंस, हिंडाल्को, पतंजलि, डालमिया ग्रुप समेत सीमेंट ग्रुप के अन्य बड़े उद्योगपति आ रहे हैं।
नवंबर से तेज होगा पुनर्गठन आयोग का काम
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि मार्च 2024 में प्रदेश की प्रशासनिक इकाइयों के पुनर्गठन का प्रस्ताव किया गया था। इस क्रम में प्रदेश के संभाग, उप संभाग, जिले, तहसील, विकासखंडों के पुनर्गठन की प्रक्रिया आरंभ की जा रही है। इसके लिए आम जन व जनप्रतिनिधि अपने सुझाव, आवेदन और अभ्यावेदन के रूप में पुनर्गठन आयोग को प्रस्तुत कर सकेंगे। पुनर्गठन आयोग द्वारा आवेदनों पर विचार के बाद राज्य शासन को अनुशंसा की जाएगी। नगरीय क्षेत्र की सीमाओं के प्रस्ताव भी आयोग को आवेदन तथा अभ्यावेदन के माध्यम से दिए जा सकेंगे। आयोग नवंबर माह से विभिन्न संभाग में दौरा प्रारंभ करेगा। आवेदन अभ्यावेदन के लिए 4 से 6 माह तक का समय रहेगा।
नाबालिग रेप पीड़िताओं को फंड देने पर कांग्रेस ने किया पलटवार
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा कि मुझे पता चला कि सरकार हाईकोर्ट, सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के बाद फैसले ले रही है। ऐसा पता चला है कि जिन बेटियों का बलात्कार होता और उनका बच्चा पैदा होगा, उसकी रक्षा करेंगे। यह कैसी सरकार है? बलात्कार रुकेंगे कैसे, सरकार इसकी बात नहीं कर रही है।
पीसीसी चीफ जीतू ने कहा, मोहन सरकार और बीजेपी की यह सरकार बेटियों की रक्षा सुरक्षा कैसे हो, इसकी बात नहीं करती। न उनके पास इक्विपमेंट हैं न आधुनिक संसाधन हैं न पुलिस है, न महिलाओं की पुलिस की भर्ती हो रही है, जितने पुलिस बल की जरूरत है उससे 50% ही पुलिसकर्मी हैं। महिला पुलिसकर्मी, एसआई, इंस्पेक्टर्स में भी यही स्थिति है।
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